पहले सिख गुरु और सिख धर्म के संस्थापक गुरु नानक देव जी का जन्म 15 अप्रैल, 1469 ई. में दिल्ली सल्तनत के लाहौर प्रान्त के ‘राय भोई की तलवंडी’ (वर्तमान में ननकाना साहिब,पंजाब, पाकिस्तान) गाँव में हुआ था। गुरु जी के पिता का नाम कल्याणचंद राय जी ( महत्ता कालू ) था और माता का नाम त्रिप्ता देवी था। गुरु जी का परिवार “बेदी खत्री” था।गुरु नानक देव जी की बड़ी बहन का नाम नानकी था। जिसे बेबे नानकी या बहन नानकी भी कहा जाता था। बेबे नानकी का जन्म 1464 ई. में  ‘चहल शहर, जिला कसूर, पाकिस्तान’ में हुआ।….

गुरु अंगद देव जी सिख धर्म के दूसरे गुरु थे। गुरु अंगद देव जी का जन्म 31 मार्च, 1504 में  गॉंव सरायनागा ( मत्ते दी सराय ) जिला श्री मुक्तसर साहिब, पंजाब ( भारत ) में हुआ था। यह गॉंव मुक्तसर-कोट कपुरा रोड पर श्री मुक्तसर साहिब से 15 कि.मी. दूरी पर है। जिस घर में गुरु अंगद देव जी का जन्म हुआ। वहाँ पर अब “गुरुद्वारा जन्म स्थान पादशाही दूजी” बना हुआ है।गुरु जी के पिता का नाम फेरु मल्ल और माता का नाम माता रामो था। माता को रामो/सुभराई देवी/दया कौर/मनसा देवी के नामों से भी जाना जाता है। फेरु मल्ल जी का पैतृक गॉंव “मंगोवाल, गुजरात शहर” ( पाकिस्तान ) है।….

गुरु अमर दास जी सिख धर्म के तीसरे गुरु थे। गुरु अमर दास जी का जन्म 5 मई, 1479 में  “गॉंव बासरके गिलां, जिला अमृतसर, पंजाब ( भारत )” में हुआ था। यह गॉंव छेहरटा-बाबा बूढ़ा जी रोड पर अमृतसर से 13 कि.मी. दूरी पर है। जिस घर में गुरु अमर दास जी का जन्म हुआ। वहाँ पर अब “गुरुद्वारा जन्म स्थान गुरु अमर दास जी” बना हुआ है। गुरु अमर दास जी के पिता का नाम तेजभान और माता का नाम लखमी था। माता को बख्त कौर/लखमी देवी/रूप कौर के नामों से भी जाना जाता है।….

गुरु राम दास जी सिख धर्म के चौथे सिख गुरु थे। गुरु राम दास जी का जन्म 24 सितम्बर, 1534 में “चुना मंडी, लाहौर, पंजाब ( पाकिस्तान )” में हुआ था। यह जगह लाहौर में कोतवाली वाला बाजार मार्ग पर स्थित है। जिस घर में गुरु राम दास जी का जन्म हुआ, वहाँ पर अब “गुरुद्वारा जन्म स्थान गुरु राम दास जी” बना हुआ है। गुरु राम दास जी के पिता का नाम भाई हरि दास और माता अनूप देवी था, जिसे बाद में अनूप कौर या दया कौर के नाम से भी जाना जाता था।….

 गुरु अर्जुन देव जी सिख धर्म के पाँचवें सिख गुरु थे। गुरु अर्जुन देव जी का जन्म 15 अप्रैल, 1563 को गोइंदवाल साहिब शहर में “श्री चौबारा साहिब”, जिला तरनतारन, पंजाब ( भारत ) में हुआ था। गुरु अर्जुन देव जी के पिता का नाम गुरु राम दास जी और माता का नाम बीबी भानी जी था। गुरु जी का परिवार “सोढ़ी खत्री” था। दस गुरुओं में से पहले गुरु नानक देव जी “बेदी” वंश के खत्री थे। दूसरे गुरु अंगद देव जी “त्रेहन” वंश के खत्री थे। तीसरे गुरु अमर दास जी “भल्ला” वंश के खत्री थे। और चौथे गुरु राम दास जी से लेकर दसवें गुरु गोबिंद सिंह जी तक सात गुरु “सोढ़ी” वंश के….

गुरु हरगोबिन्द जी सिख धर्म के 6वें सिख गुरु थे। गुरु हरगोबिन्द जी का जन्म 19 जून, 1595 को “गाँव गुरु की वडाली, छेहरटा, जिला अमृतसर” में हुआ था। यह गाँव अमृतसर शहर से 9 कि.मी. दूर है। गुरु हरगोबिन्द जी के पिता का नाम “गुरु अर्जुन देव जी” और माता का नाम “माता गंगा जी” था। गुरु जी का परिवार “सोढ़ी खत्री” था।….

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